Kis Kis Ko Deepak Pyar Kare Songtext
von Lata Mangeshkar
Kis Kis Ko Deepak Pyar Kare Songtext
किस-किस को दीपक प्यार करे?
जब लाख पतंगे जलते हों
किस-किस को दीपक प्यार करे?
जब लाख पतंगे जलते हों
क्यूँ फूल धूल में मिल जाएँ?
जब भँवरे आहें भरते हों
किस-किस को दीपक प्यार करे?
चंदा का इसमें दोष ही क्या?
तारे रोएँ या मुस्काएँ
चंदा का इसमें दोष ही क्या?
तारे रोएँ या मुस्काएँ
चाहे ओस बने उनके आँसू
या मोती बनकर झड़ जाएँ
क्यूँ खिले कमल कुम्हला जाएँ?
जब मरने वाले मरते हों
किस-किस को दीपक प्यार करे?
जोगी, तुम जोग रमा बैठे
जोगी, तुम जोग रमा बैठे
अपने में ध्यान लगा बैठे
अपने में ध्यान लगा बैठे
जोगी, तुम जोग रमा बैठे
अपने में ध्यान लगा बैठे
ऐसों से प्यार की क्या आशा?
जो अपना आप गँवा बैठे
फिर भी तुम को ही चाहेंगे
हम जीते हों या मरते हों
किस-किस को दीपक प्यार करे?
जब लाख पतंगे जलते हों
किस-किस को दीपक प्यार करे?
जब लाख पतंगे जलते हों
किस-किस को दीपक प्यार करे?
जब लाख पतंगे जलते हों
क्यूँ फूल धूल में मिल जाएँ?
जब भँवरे आहें भरते हों
किस-किस को दीपक प्यार करे?
चंदा का इसमें दोष ही क्या?
तारे रोएँ या मुस्काएँ
चंदा का इसमें दोष ही क्या?
तारे रोएँ या मुस्काएँ
चाहे ओस बने उनके आँसू
या मोती बनकर झड़ जाएँ
क्यूँ खिले कमल कुम्हला जाएँ?
जब मरने वाले मरते हों
किस-किस को दीपक प्यार करे?
जोगी, तुम जोग रमा बैठे
जोगी, तुम जोग रमा बैठे
अपने में ध्यान लगा बैठे
अपने में ध्यान लगा बैठे
जोगी, तुम जोग रमा बैठे
अपने में ध्यान लगा बैठे
ऐसों से प्यार की क्या आशा?
जो अपना आप गँवा बैठे
फिर भी तुम को ही चाहेंगे
हम जीते हों या मरते हों
किस-किस को दीपक प्यार करे?
जब लाख पतंगे जलते हों
किस-किस को दीपक प्यार करे?
Writer(s): Jaidev, Nyaya Sharma Lyrics powered by www.musixmatch.com