Har Dil Me Hai Rab Basta Songtext
von Kumar Sanu
Har Dil Me Hai Rab Basta Songtext
हर दिल में है रब बसता
हर दिल में है रब बसता
हर दिल में है रब बसता
हर दिल में है रब बसता
सब से बड़ा खिलाड़ी वो है, हो-ओ
सब से बड़ा खिलाड़ी वो है
तरह-तरह के खेल है रचता
हर दिल में है रब बसता
हर दिल में है रब बसता
हर दिल में है रब बसता
हर दिल में है रब बसता
सब से बड़ा खिलाड़ी वो है, हो-ओ
सब से बड़ा खिलाड़ी वो है
तरह-तरह के खेल है रचता
हर दिल में है रब बसता
हर दिल में है रब बसता
हर दिल में है रब बसता
हर दिल में है रब बसता
खोल के आँखें देख ले भैया
ये दुनिया है गोरख धंधा
जैसा करेगा भरेगा वैसा
सर पे लटक रहा है फंदा
बे-आवाज़ है लाठी उसकी, ओ-ओ
बे-आवाज़ है लाठी उसकी
जिसकी मार से कोई ना बचता
हर दिल में है रब बसता
हर दिल में है रब बसता
हर दिल में है रब बसता
हर दिल में है रब बसता
कहीं पे दंगा, कहीं पे झगड़े
एक जान के १०० हैं लफ़ड़े
मन का मैल कोई नहीं धोता
सिर्फ़ यहाँ धुलते हैं कपड़े
चेहरों पर मुस्कान सजी है, ओ-ओ
चेहरों पर मुस्कान सजी है
सच्ची हँसी कोई नहीं हँसता
हर दिल में है रब बसता
हर दिल में है रब बसता
हर दिल में है रब बसता
हर दिल में है रब बसता
दोनों हाथ थे खाली तेरे
जब दुनिया में तू आया था
जो पाया सब यहीं पे पाया
बोल, क्या अपने संग लाया था?
मोह-माया के जाल में फँस कर, हो-ओ
मोह-माया के जाल में फँस कर
कभी तू रोता, कभी तू हँसता
हर दिल में है रब बसता
हर दिल में है रब बसता
हर दिल में है रब बसता
हर दिल में है रब बसता
सब से बड़ा खिलाड़ी वो है, हो-ओ
सब से बड़ा खिलाड़ी वो है
तरह-तरह के खेल है रचता
हर दिल में है रब बसता
हर दिल में है रब बसता
हर दिल में है रब बसता
हर दिल में है रब बसता
हर दिल में है रब बसता
सब से बड़ा खिलाड़ी वो है, हो-ओ
सब से बड़ा खिलाड़ी वो है
तरह-तरह के खेल है रचता
हर दिल में है रब बसता
हर दिल में है रब बसता
हर दिल में है रब बसता
हर दिल में है रब बसता
सब से बड़ा खिलाड़ी वो है, हो-ओ
सब से बड़ा खिलाड़ी वो है
तरह-तरह के खेल है रचता
हर दिल में है रब बसता
हर दिल में है रब बसता
हर दिल में है रब बसता
हर दिल में है रब बसता
खोल के आँखें देख ले भैया
ये दुनिया है गोरख धंधा
जैसा करेगा भरेगा वैसा
सर पे लटक रहा है फंदा
बे-आवाज़ है लाठी उसकी, ओ-ओ
बे-आवाज़ है लाठी उसकी
जिसकी मार से कोई ना बचता
हर दिल में है रब बसता
हर दिल में है रब बसता
हर दिल में है रब बसता
हर दिल में है रब बसता
कहीं पे दंगा, कहीं पे झगड़े
एक जान के १०० हैं लफ़ड़े
मन का मैल कोई नहीं धोता
सिर्फ़ यहाँ धुलते हैं कपड़े
चेहरों पर मुस्कान सजी है, ओ-ओ
चेहरों पर मुस्कान सजी है
सच्ची हँसी कोई नहीं हँसता
हर दिल में है रब बसता
हर दिल में है रब बसता
हर दिल में है रब बसता
हर दिल में है रब बसता
दोनों हाथ थे खाली तेरे
जब दुनिया में तू आया था
जो पाया सब यहीं पे पाया
बोल, क्या अपने संग लाया था?
मोह-माया के जाल में फँस कर, हो-ओ
मोह-माया के जाल में फँस कर
कभी तू रोता, कभी तू हँसता
हर दिल में है रब बसता
हर दिल में है रब बसता
हर दिल में है रब बसता
हर दिल में है रब बसता
सब से बड़ा खिलाड़ी वो है, हो-ओ
सब से बड़ा खिलाड़ी वो है
तरह-तरह के खेल है रचता
हर दिल में है रब बसता
हर दिल में है रब बसता
Writer(s): Dev Kohli, Rajesh Roshan Lyrics powered by www.musixmatch.com