Zindagi Ek Dard Hai Songtext
von Nitin Mukesh
Zindagi Ek Dard Hai Songtext
ज़िंदगी एक दर्द है, इस से दवा का काम ले
ज़िंदगी एक दर्द है, इस से दवा का काम ले
हँस के अपने सर पे दुनिया-भर के तू इल्ज़ाम ले
ज़िंदगी एक दर्द है, इस से दवा का काम ले
हँस के अपने सर पे दुनिया-भर के तू इल्ज़ाम ले
ज़िंदगी एक दर्द है...
एक गुलशन है ये दुनिया, ये जमीं, ये आसमाँ
एक गुलशन है ये दुनिया, ये जमीं, ये आसमाँ
फूल चुनकर लोग काँटे फेंक देते हैं यहाँ
फूल से बेहतर है वो काँटा जो दामन थाम ले
फूल से बेहतर है वो काँटा जो दामन थाम ले
हँस के अपने सर पे दुनिया-भर के तू इल्ज़ाम ले
ज़िंदगी एक दर्द है...
इस जहाँ में क्या नहीं इंसान को करना पड़ा?
इस जहाँ में क्या नहीं इंसान को करना पड़ा?
जिस्म से, जी से जुदा इस जान को करना पड़ा
वक़्त ना आए किसी पर ये, ख़ुदा का नाम ले
वक़्त ना आए किसी पर ये, ख़ुदा का नाम ले
हँस के अपने सर पे दुनिया-भर के तू इल्ज़ाम ले
ज़िंदगी एक दर्द है, इस से दवा का काम ले
हँस के अपने सर पे दुनिया-भर के तू इल्ज़ाम ले
ज़िंदगी एक दर्द है...
ज़िंदगी एक दर्द है, इस से दवा का काम ले
हँस के अपने सर पे दुनिया-भर के तू इल्ज़ाम ले
ज़िंदगी एक दर्द है, इस से दवा का काम ले
हँस के अपने सर पे दुनिया-भर के तू इल्ज़ाम ले
ज़िंदगी एक दर्द है...
एक गुलशन है ये दुनिया, ये जमीं, ये आसमाँ
एक गुलशन है ये दुनिया, ये जमीं, ये आसमाँ
फूल चुनकर लोग काँटे फेंक देते हैं यहाँ
फूल से बेहतर है वो काँटा जो दामन थाम ले
फूल से बेहतर है वो काँटा जो दामन थाम ले
हँस के अपने सर पे दुनिया-भर के तू इल्ज़ाम ले
ज़िंदगी एक दर्द है...
इस जहाँ में क्या नहीं इंसान को करना पड़ा?
इस जहाँ में क्या नहीं इंसान को करना पड़ा?
जिस्म से, जी से जुदा इस जान को करना पड़ा
वक़्त ना आए किसी पर ये, ख़ुदा का नाम ले
वक़्त ना आए किसी पर ये, ख़ुदा का नाम ले
हँस के अपने सर पे दुनिया-भर के तू इल्ज़ाम ले
ज़िंदगी एक दर्द है, इस से दवा का काम ले
हँस के अपने सर पे दुनिया-भर के तू इल्ज़ाम ले
ज़िंदगी एक दर्द है...
Writer(s): Kudalkar Laxmikant, Anand Bakshi, Pyarelal Ramprasad Sharma Lyrics powered by www.musixmatch.com