Malhari Songtext
von Vishal Dadlani
Malhari Songtext
बजने दे धड़क-धड़क
ढोल-ताशे धड़क-धड़क
भंडारा छिड़क-छिड़क मल्हारी
कड़क, तड़क, भड़क झाली
चटक, मटक, वटक झाली
दुश्मन की देखो जो वाट लावली
अरे, बजने दे धड़क-धड़क
ढोल-ताशे धड़क-धड़क
भंडारा छिड़क-छिड़क मल्हारी
कड़क, तड़क, भड़क झाली
चटक, मटक, वटक झाली
दुश्मन की देखो जो वाट लावली
बजने दे धड़क-धड़क
ढोल-ताशे धड़क-धड़क
भंडारा छिड़क-छिड़क मल्हारी
कड़क, तड़क, भड़क झाली
चटक, मटक, वटक झाली
दुश्मन की देखो जो वाट लावली
धीरे-धीरे बढ़ी चली, बढ़ी चली है
जो थी चिंगारी (छोटी चिंगारी)
भरी-भरी, भरी-भरी, भरी-भरी है
मन की अलमारी (आज अलमारी)
हुई सतरंगी, झाली सतरंगी
हुई सतरंगी, थी जो ये रात काली
Aye, कड़क, तड़क, भड़क झाली
चटक, मटक, वटक झाली
दुश्मन की देखो जो वाट लावली
चका-चका-चका-चका-चका-चकाचौंध
अपनी बस्ती रे (झाली बस्ती रे)
रपा-रपा-रपा-रपा-रपा-रपा-रप
सारे मस्ती में (डूबे मस्ती में)
बड़ी अतरंगी, हुई अतरंगी
बड़ी अतरंगी अपनी ये जीत झाली
Aye, कड़क, तड़क, भड़क झाली
चटक, मटक, वटक झाली
दुश्मन की देखो जो वाट लावली
बजने दे धड़क-धड़क
ढोल-ताशे धड़क-धड़क
भंडारा छिड़क-छिड़क मल्हारी
कड़क, तड़क, भड़क झाली
चटक, मटक, वटक झाली
दुश्मन की देखो जो वाट लावली
बजने दे धड़क-धड़क
ढोल-ताशे धड़क-धड़क
भंडारा छिड़क-छिड़क मल्हारी
कड़क, तड़क, भड़क झाली
चटक, मटक, वटक झाली
दुश्मन की देखो जो वाट लावली
ढोल-ताशे धड़क-धड़क
भंडारा छिड़क-छिड़क मल्हारी
कड़क, तड़क, भड़क झाली
चटक, मटक, वटक झाली
दुश्मन की देखो जो वाट लावली
अरे, बजने दे धड़क-धड़क
ढोल-ताशे धड़क-धड़क
भंडारा छिड़क-छिड़क मल्हारी
कड़क, तड़क, भड़क झाली
चटक, मटक, वटक झाली
दुश्मन की देखो जो वाट लावली
बजने दे धड़क-धड़क
ढोल-ताशे धड़क-धड़क
भंडारा छिड़क-छिड़क मल्हारी
कड़क, तड़क, भड़क झाली
चटक, मटक, वटक झाली
दुश्मन की देखो जो वाट लावली
धीरे-धीरे बढ़ी चली, बढ़ी चली है
जो थी चिंगारी (छोटी चिंगारी)
भरी-भरी, भरी-भरी, भरी-भरी है
मन की अलमारी (आज अलमारी)
हुई सतरंगी, झाली सतरंगी
हुई सतरंगी, थी जो ये रात काली
Aye, कड़क, तड़क, भड़क झाली
चटक, मटक, वटक झाली
दुश्मन की देखो जो वाट लावली
चका-चका-चका-चका-चका-चकाचौंध
अपनी बस्ती रे (झाली बस्ती रे)
रपा-रपा-रपा-रपा-रपा-रपा-रप
सारे मस्ती में (डूबे मस्ती में)
बड़ी अतरंगी, हुई अतरंगी
बड़ी अतरंगी अपनी ये जीत झाली
Aye, कड़क, तड़क, भड़क झाली
चटक, मटक, वटक झाली
दुश्मन की देखो जो वाट लावली
बजने दे धड़क-धड़क
ढोल-ताशे धड़क-धड़क
भंडारा छिड़क-छिड़क मल्हारी
कड़क, तड़क, भड़क झाली
चटक, मटक, वटक झाली
दुश्मन की देखो जो वाट लावली
बजने दे धड़क-धड़क
ढोल-ताशे धड़क-धड़क
भंडारा छिड़क-छिड़क मल्हारी
कड़क, तड़क, भड़क झाली
चटक, मटक, वटक झाली
दुश्मन की देखो जो वाट लावली
Writer(s): Parashram Laxman Ingole, Sanjay Navin Bhansali Lyrics powered by www.musixmatch.com