Khudaya Re Songtext
von Ali Aslam Shah
Khudaya Re Songtext
ਖ਼ੁਦਾਇਆ ਵੇ
ਖ਼ੁਦਾਇਆ ਵੇ
ਖ਼ੁਦਾਇਆ ਵੇ
मैं ख़ुद को तोड़ बैठा हूँ
मुझे ख़ुद से जोड़ दे, या रब
मैं रस्ता भूल बैठा हूँ
कोई तो मोड़ दे, या रब
पग-पग हैं अँधेरी गलियाँ रे, कोई तारा तो चमका दे
हर सपना गिर-गिर टूटा रे, रब, जीना तो सिखला दे
ਖ਼ੁਦਾਇਆ ਰੇ, ਖ਼ੁਦਾਇਆ ਰੇ, ਖ਼ੁਦਾਇਆ ਰੇ
ਖ਼ੁਦਾਇਆ ਰੇ, ਖ਼ੁਦਾਇਆ ਰੇ, ਖ਼ੁਦਾਇਆ ਰੇ
नि-सा-सा, नि-सा-सा, नि-सा-सा, नि-सा-सा-रे-सा (ਖ਼ੁਦਾਇਆ ਰੇ)
नि-सा-सा, नि-सा-सा, नि-सा-सा, नि-सा-सा, नि-नि-धा-मा
नि-सा-सा, नि-सा-सा, नि-सा-सा, नि-सा-सा-रे-सा
नि-सा-सा, नि-सा-सा, नि-सा-सा, नि-सा-सा, नि-नि-धा-मा
इतने सितम ना कर ज़िंदगी, हम कहाँ बार-बार आएँगे?
नादान हैं हम ज़रा अभी, जीने दे, वरना मर जाएँगे
ख़्वाबों की ज़मीं हैं बंजर, हर बात लगे हैं ख़ंजर
अब थोड़ा सा मरहम तो लगा ले
उम्मीदें छोड़ बैठा हूँ
मुझे हिम्मत और दे, या रब
मैं तेरा नादान बंदा हूँ
गिर जाऊँ तो थाम ले, या रब
पग-पग हैं अँधेरी गलियाँ रे, कोई तारा तो चमका दे
हर सपना गिर-गिर टूटा रे, रब, जीना तो सिखला दे
ਖ਼ੁਦਾਇਆ ਰੇ, ਖ਼ੁਦਾਇਆ ਰੇ, ਖ਼ੁਦਾਇਆ ਰੇ
ਖ਼ੁਦਾਇਆ ਰੇ, ਖ਼ੁਦਾਇਆ ਰੇ, ਖ਼ੁਦਾਇਆ ਰੇ
माँ-बाप की ख़ुशियों के लिए सोचा था कुछ कर जाएँगे
ना था पता, सब इस तरह ख़्वाब सारे बिख़र जाएँगे
जल-थल है दोनों नैना, कभी आँसू पोछ, हँसा दे
थोड़ा हाथ बढ़ा दे ज़िंदगी
ग़म सारे ओढ़ बैठा हूँ
अब ख़ुशियाँ भेज दे, या रब
सब धागे तोड़ बैठा हूँ
नयी एक डोर दे, या रब
पग-पग हैं अँधेरी गलियाँ रे, कोई तारा तो चमका दे
हर सपना गिर-गिर टूटा रे, रब, जीना तो सिखला दे
ਖ਼ੁਦਾਇਆ ਰੇ, ਖ਼ੁਦਾਇਆ ਰੇ, ਖ਼ੁਦਾਇਆ ਰੇ
ਖ਼ੁਦਾਇਆ ਰੇ, ਖ਼ੁਦਾਇਆ ਰੇ, ਖ਼ੁਦਾਇਆ ਰੇ
(ਖ਼ੁਦਾਇਆ ਵੇ)
ਖ਼ੁਦਾਇਆ ਵੇ
ਖ਼ੁਦਾਇਆ ਵੇ
मैं ख़ुद को तोड़ बैठा हूँ
मुझे ख़ुद से जोड़ दे, या रब
मैं रस्ता भूल बैठा हूँ
कोई तो मोड़ दे, या रब
पग-पग हैं अँधेरी गलियाँ रे, कोई तारा तो चमका दे
हर सपना गिर-गिर टूटा रे, रब, जीना तो सिखला दे
ਖ਼ੁਦਾਇਆ ਰੇ, ਖ਼ੁਦਾਇਆ ਰੇ, ਖ਼ੁਦਾਇਆ ਰੇ
ਖ਼ੁਦਾਇਆ ਰੇ, ਖ਼ੁਦਾਇਆ ਰੇ, ਖ਼ੁਦਾਇਆ ਰੇ
नि-सा-सा, नि-सा-सा, नि-सा-सा, नि-सा-सा-रे-सा (ਖ਼ੁਦਾਇਆ ਰੇ)
नि-सा-सा, नि-सा-सा, नि-सा-सा, नि-सा-सा, नि-नि-धा-मा
नि-सा-सा, नि-सा-सा, नि-सा-सा, नि-सा-सा-रे-सा
नि-सा-सा, नि-सा-सा, नि-सा-सा, नि-सा-सा, नि-नि-धा-मा
इतने सितम ना कर ज़िंदगी, हम कहाँ बार-बार आएँगे?
नादान हैं हम ज़रा अभी, जीने दे, वरना मर जाएँगे
ख़्वाबों की ज़मीं हैं बंजर, हर बात लगे हैं ख़ंजर
अब थोड़ा सा मरहम तो लगा ले
उम्मीदें छोड़ बैठा हूँ
मुझे हिम्मत और दे, या रब
मैं तेरा नादान बंदा हूँ
गिर जाऊँ तो थाम ले, या रब
पग-पग हैं अँधेरी गलियाँ रे, कोई तारा तो चमका दे
हर सपना गिर-गिर टूटा रे, रब, जीना तो सिखला दे
ਖ਼ੁਦਾਇਆ ਰੇ, ਖ਼ੁਦਾਇਆ ਰੇ, ਖ਼ੁਦਾਇਆ ਰੇ
ਖ਼ੁਦਾਇਆ ਰੇ, ਖ਼ੁਦਾਇਆ ਰੇ, ਖ਼ੁਦਾਇਆ ਰੇ
माँ-बाप की ख़ुशियों के लिए सोचा था कुछ कर जाएँगे
ना था पता, सब इस तरह ख़्वाब सारे बिख़र जाएँगे
जल-थल है दोनों नैना, कभी आँसू पोछ, हँसा दे
थोड़ा हाथ बढ़ा दे ज़िंदगी
ग़म सारे ओढ़ बैठा हूँ
अब ख़ुशियाँ भेज दे, या रब
सब धागे तोड़ बैठा हूँ
नयी एक डोर दे, या रब
पग-पग हैं अँधेरी गलियाँ रे, कोई तारा तो चमका दे
हर सपना गिर-गिर टूटा रे, रब, जीना तो सिखला दे
ਖ਼ੁਦਾਇਆ ਰੇ, ਖ਼ੁਦਾਇਆ ਰੇ, ਖ਼ੁਦਾਇਆ ਰੇ
ਖ਼ੁਦਾਇਆ ਰੇ, ਖ਼ੁਦਾਇਆ ਰੇ, ਖ਼ੁਦਾਇਆ ਰੇ
(ਖ਼ੁਦਾਇਆ ਵੇ)
Writer(s): Azeem Shirazi, Vikram Noel Montrose Lyrics powered by www.musixmatch.com