Ruke Ruke Se Qadam Songtext
von Madan Mohan
Ruke Ruke Se Qadam Songtext
रुके रुके से क़दम
रुक के बार-बार चले
रुके रुके से क़दम
रुक के बार-बार चले क़रार लेके तेरे दर से बेक़रार चले
रुके रुके से क़दम
रुक के बार-बार चले
रुके रुके से क़दम
सुबह ना आयी कई बार नींद से जागे
थी एक रात की ये ज़िन्दगी गुज़ार चले
रुके रुके से क़दम
उठाये फिरते थे एहसान दिल का सीने पर
ले तेरे क़दमों में ये क़र्ज़ भी उतार चले
क़रार लेके तेरे दर से बेक़रार चले
रुके रुके से क़दम, रुक के बार-बार चले
रुक के बार-बार चले
रुके रुके से क़दम
रुक के बार-बार चले क़रार लेके तेरे दर से बेक़रार चले
रुके रुके से क़दम
रुक के बार-बार चले
रुके रुके से क़दम
सुबह ना आयी कई बार नींद से जागे
थी एक रात की ये ज़िन्दगी गुज़ार चले
रुके रुके से क़दम
उठाये फिरते थे एहसान दिल का सीने पर
ले तेरे क़दमों में ये क़र्ज़ भी उतार चले
क़रार लेके तेरे दर से बेक़रार चले
रुके रुके से क़दम, रुक के बार-बार चले
Writer(s): Gulzar, Madan Mohan Lyrics powered by www.musixmatch.com